अडानी एनर्जी ने की बंपर प्रगति: दुसरे क्वाटर में प्रोजेक्ट पाइपलाइन 27,300 करोड़ तक पहुंची


के कुमार आहूजा  2024-10-15 09:55:40



 

अडानी एनर्जी सॉल्यूशंस लिमिटेड (AESL) ने वित्त वर्ष 2025 की दूसरी तिमाही में जबरदस्त प्रगति दर्ज की है। कंपनी की परियोजना पाइपलाइन में भारी बढ़ोतरी देखने को मिली है, जो कि पहली तिमाही के 17,000 करोड़ से बढ़कर दूसरी तिमाही में 27,300 करोड़ हो गई। अडानी एनर्जी की यह प्रगति न केवल भारत के ऊर्जा क्षेत्र में नई ऊंचाइयों को छू रही है, बल्कि अंतरराष्ट्रीय निवेशकों का भी ध्यान खींच रही है।

प्रोजेक्ट पाइपलाइन में बड़ा इजाफा

अडानी एनर्जी सॉल्यूशंस लिमिटेड (AESL) ने सोमवार को दूसरी तिमाही (Q2 FY25) में शानदार प्रगति का ऐलान किया। कंपनी ने इस तिमाही में अपनी परियोजना पाइपलाइन को 17,000 करोड़ रुपये से बढ़ाकर 27,300 करोड़ रुपये कर लिया है। यह इजाफा ऊर्जा परियोजनाओं में हो रहे निवेश और तेजी से बढ़ते विकास की ओर इशारा करता है।

कंपनी ने वित्त वर्ष 2025 की पहली तिमाही में जो 17,000 करोड़ की परियोजनाएं घोषित की थीं, वे अब और भी अधिक विस्तारित हो चुकी हैं। इस परियोजना पाइपलाइन में शामिल हैं उच्च वोल्टेज डायरेक्ट करंट लाइन और अन्य प्रमुख ट्रांसमिशन प्रोजेक्ट्स।

ट्रांसमिशन नेटवर्क में बढ़ोतरी

इस अवधि में अडानी एनर्जी का ट्रांसमिशन नेटवर्क 23,269 सर्किट किलोमीटर (सीकेएम) पर पहुंच गया, जो कि पिछले साल की इसी अवधि के 19,862 सीकेएम से अधिक है। ट्रांसमिशन नेटवर्क में हुई इस बढ़ोतरी से कंपनी की दक्षता और क्षमता में भी इजाफा हुआ है। साथ ही, कंपनी ने इस तिमाही में 140 सीकेएम का नेटवर्क भी जोड़ा, जो इसे और भी मजबूत बनाता है।

इसके अलावा, कंपनी ने गुजरात के जामनगर, मुंद्रा के नाविनल और खावड़ा फेज IV-A में तीन नए ट्रांसमिशन प्रोजेक्ट्स की स्थापना की, जो अंडर-कंस्ट्रक्शन नेटवर्क में 2,059 सीकेएम जोड़ते हैं।

ESG और अक्षय ऊर्जा की दिशा में कदम

अडानी एनर्जी सॉल्यूशंस ने इस तिमाही में अपने 500 मेगावाट के अडानी दहानू थर्मल पावर स्टेशन को एक अन्य समूह कंपनी को स्थानांतरित कर दिया। यह कदम कंपनी की पर्यावरण, सामाजिक और प्रशासन (ESG) की फिलॉसफी के अनुरूप है और इसे वैश्विक उपयोगिता उद्योग की ESG रेटिंग्स में शीर्ष 20 कंपनियों में शामिल होने की ओर ले जाता है।

मुंबई डिस्कॉम में वृद्धि

मुंबई में अडानी इलेक्ट्रिसिटी ने वर्ष-दर-वर्ष आधार पर 7 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की है। कुल यूनिट्स की बिक्री 2,446 से बढ़कर 2,609 यूनिट्स हो गई है। डिजिटल भुगतान की ओर बढ़ते रुझान के साथ, ई-पेमेंट्स का प्रतिशत कुल संग्रह का 83.27% हो गया, जो पिछले साल के 79.19% से अधिक है। इससे यह साफ जाहिर होता है कि अडानी एनर्जी सॉल्यूशंस तेजी से डिजिटल प्लेटफॉर्म को अपनाकर उपभोक्ता संतुष्टि और सुविधा में इजाफा कर रही है।

कंपनी के वित्तीय कदम

कंपनी ने Q2 FY25 के दौरान 8,373 करोड़ रुपये जुटाए, जो भारतीय पावर सेक्टर में अब तक की सबसे बड़ी फंड रेजिंग में से एक है। इसके साथ ही, कंपनी ने कतर इन्वेस्टमेंट अथॉरिटी और GQG पार्टनर्स जैसे प्रमुख निवेशकों से भी प्रमुख इक्विटी निवेश हासिल किया।

मुंबई डिस्कॉम के नियामक एसेट बेस में 7 प्रतिशत की कंपाउंड एनुअल ग्रोथ रेट (CAGR) दर्ज की गई है, जो इसके मजबूत वित्तीय प्रदर्शन का प्रमाण है।

भविष्य की रणनीति और निवेश

कंपनी ने अपनी परियोजनाओं में नए निवेश और निर्माण गतिविधियों के चलते भारत के ऊर्जा क्षेत्र में खुद को एक मजबूत खिलाड़ी के रूप में स्थापित किया है। यह ग्रोथ भारत के साथ-साथ अंतरराष्ट्रीय निवेशकों के लिए भी एक बड़ा अवसर है।

इसके अलावा, अडानी एनर्जी सॉल्यूशंस अपने हाई-वोल्टेज डायरेक्ट करंट (HVDC) ट्रांसमिशन लाइन के निर्माण में भी उल्लेखनीय प्रगति कर रही है, जो देश में सबसे लंबी निजी HVDC लाइन होगी। यह प्रोजेक्ट कंपनी के लिए मील का पत्थर साबित हो सकता है।

अडानी एनर्जी सॉल्यूशंस लिमिटेड ने वित्त वर्ष 2025 की दूसरी तिमाही में अपनी परियोजना पाइपलाइन और ट्रांसमिशन नेटवर्क में बेहतरीन बढ़ोतरी की है। कंपनी के ESG पहल और नए वित्तीय निवेश इसे वैश्विक ऊर्जा बाजार में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने में सक्षम बना रहे हैं। कंपनी का डिजिटल एडॉप्शन और उपभोक्ताओं के बीच इसकी बढ़ती लोकप्रियता इसे भविष्य के लिए तैयार कर रही है।


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