बड़ा खुलासा! दिल्ली के लग्ज़री कार शोरूम में गोलीबारी: पुलिस ने चार आरोपियों को धर दबोचा


के कुमार आहूजा  2024-10-05 07:56:32



बड़ा खुलासा! दिल्ली के लग्ज़री कार शोरूम में गोलीबारी: पुलिस ने चार आरोपियों को धर दबोचा

दिल्ली के नारायणा इलाके में 27 सितंबर की रात एक लग्ज़री कार शोरूम पर हुई गोलीबारी ने पूरे शहर को हिला कर रख दिया। अपराधियों ने न सिर्फ शोरूम के अंदर घुसकर ताबड़तोड़ गोलियां चलाईं, बल्कि मालिक को डराने के लिए धमकी भरा संदेश भी छोड़ा। लेकिन अब, दिल्ली पुलिस ने इस मामले में सभी चार अपराधियों को गिरफ्तार कर बड़ा खुलासा किया है। तो, आखिर क्यों हुआ ये हमला? किसके इशारे पर हो रही थी ये वारदात? जानिए इस सनसनीखेज घटना की पूरी कहानी।

घटना का विवरण:

27 सितंबर की शाम दिल्ली के नारायणा इलाके के एक लग्ज़री कार शोरूम पर अचानक गोलियों की बौछार ने इलाके में हड़कंप मचा दिया। तीन हमलावरों ने शोरूम में घुसते ही कर्मचारियों को धमकाया और शोरूम के चारों ओर गोलियां चलाईं। यह हमला एक बड़े गैंगस्टर, हिमांशु भाऊ के इशारे पर किया गया था, जो यूरोप से यह वारदात करवा रहा था। हमलावरों ने शोरूम के मालिक से 5 करोड़ रुपये की फिरौती की मांग की और जाते वक्त एक धमकी भरा नोट भी छोड़ गए जिसमें लिखा था, "हिमांशु भाऊ, 2020 से।"

यह पूरी घटना शोरूम में लगे सीसीटीवी कैमरों में कैद हो गई, जिसके आधार पर दिल्ली पुलिस ने तेजी से जांच शुरू की। दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने इस मामले को गंभीरता से लेते हुए कई टीमों का गठन किया और आरोपियों को पकड़ने के लिए अलग-अलग इलाकों में छापेमारी शुरू की।

गिरफ्तारियां और पुलिस की कार्रवाई:

जांच के दौरान पुलिस ने चार मुख्य आरोपियों को गिरफ्तार किया। सबसे पहले स्पेशल सेल की टीम ने कंझावला इलाके से अर्मान खान को गिरफ्तार किया, जो इस गोलीबारी का मुख्य शूटर था। अर्मान एक हरियाणा का निवासी है और पहले से कई अपराधों में लिप्त था। उसके बाद क्राइम ब्रांच ने दूसरे आरोपी दीपक को गिरफ्तार किया, जो एक अंतरराष्ट्रीय किकबॉक्सिंग खिलाड़ी होने के साथ-साथ इस गिरोह का सक्रिय सदस्य था। दीपक ने खुद को इस पूरी साजिश का मास्टरमाइंड बताया।

तीसरे और चौथे आरोपी, सुमित काला और आकाश, घटना के तुरंत बाद फरार हो गए थे, लेकिन पुलिस ने उनके ठिकाने का पता लगाकर उन्हें भी हिरासत में ले लिया। इन दोनों ने घटना के बाद हरियाणा में शरण ली थी और पुलिस से बचने की कोशिश कर रहे थे।

पुलिस ने बताया कि इन चारों आरोपियों का संबंध हिमांशु भाऊ गैंग से है, जो दिल्ली में कई अन्य अपराधों में शामिल रहा है। हिमांशु भाऊ खुद एक खतरनाक अपराधी है, जो वर्तमान में विदेश में रह रहा है और वहीं से अपने गुर्गों के जरिए दिल्ली में अपराधों को अंजाम दे रहा है। पुलिस की मानें तो इस घटना का उद्देश्य दिल्ली के व्यापारियों में दहशत फैलाकर उनसे फिरौती वसूलना था।

पुलिस की कड़ी कार्रवाई और गिरोह का पर्दाफाश:

दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल और क्राइम ब्रांच की संयुक्त टीमों ने इस मामले को गंभीरता से लेते हुए ताबड़तोड़ कार्रवाई की। पुलिस ने अर्मान खान की गिरफ्तारी के दौरान उसे मुठभेड़ में घायल भी किया, जिसके बाद उसे अस्पताल में भर्ती कराना पड़ा। इसके बाद पुलिस ने अन्य आरोपियों को भी धर दबोचा। पुलिस के अनुसार, अर्मान और दीपक ने इस हमले की योजना काफी समय पहले बना ली थी और इसे 27 सितंबर को अंजाम दिया गया। सुमित और आकाश ने भी इस पूरी योजना में सक्रिय भूमिका निभाई थी।

गिरफ्तारी के बाद चारों आरोपियों ने पूछताछ में खुलासा किया कि हिमांशु भाऊ ने उन्हें इस वारदात को अंजाम देने के लिए निर्देश दिए थे। हिमांशु का गैंग दिल्ली और एनसीआर क्षेत्र में व्यापारियों को धमकाकर उनसे मोटी रकम वसूलता रहा है। शोरूम पर किया गया यह हमला भी इसी रणनीति का हिस्सा था।

शहर में बढ़ते अपराध और पुलिस की सतर्कता:

दिल्ली में हाल के दिनों में अपराध की घटनाएं बढ़ती नजर आ रही हैं। विशेष रूप से व्यापारियों को निशाना बनाकर की जा रही फिरौती की घटनाएं चिंता का विषय बन गई हैं। पुलिस ने बताया कि हिमांशु भाऊ गैंग ने इससे पहले भी दिल्ली के कई हिस्सों में इसी तरह की घटनाओं को अंजाम दिया है। हालांकि, पुलिस की तत्परता और अभियानों की वजह से समय रहते इन अपराधियों को गिरफ्तार कर लिया गया।

स्पेशल सेल के एडिशनल सीपी प्रमोद कुशवाह ने बताया कि इस मामले को पूरी गंभीरता से लिया गया था और आरोपियों को जल्द से जल्द पकड़ने के लिए विशेष टीमें बनाई गई थीं। अब इन चारों आरोपियों की गिरफ्तारी के बाद पुलिस को उम्मीद है कि इस गिरोह के अन्य सदस्यों तक भी जल्द ही पहुंच बनाई जा सकेगी।

नारायणा के लग्ज़री कार शोरूम पर हुई गोलीबारी की इस घटना ने न सिर्फ दिल्ली के व्यापारिक समुदाय को झकझोर कर रख दिया है, बल्कि यह भी साफ कर दिया है कि दिल्ली के आपराधिक गिरोह फिरौती के लिए व्यापारियों को लगातार निशाना बना रहे हैं। हालांकि, दिल्ली पुलिस की त्वरित कार्रवाई ने इस घटना का पर्दाफाश कर अपराधियों को गिरफ्तार किया, लेकिन अब सवाल यह है कि क्या दिल्ली में अपराधों का यह सिलसिला रुक पाएगा?


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