में एक भूमि विवाद ने फिर से एक भयानक रूप ले लिया। दो समूहों के बीच हुई झड़प में एक व्यक्ति की जान चली गई, जबकि एक अन्य गंभीर रूप से घायल हुआ। इस घटना ने स्थानीय समुदाय में आतंक फैला दिया है
के कुमार आहूजा 2024-09-23 20:24:16
ज़मीन विवाद के चलते हुई हिंसा: एक की मौत, क्षेत्र में तनाव
राजस्थान के अजमेर जिले में एक भूमि विवाद ने फिर से एक भयानक रूप ले लिया। दो समूहों के बीच हुई झड़प में एक व्यक्ति की जान चली गई, जबकि एक अन्य गंभीर रूप से घायल हुआ। इस घटना ने स्थानीय समुदाय में आतंक फैला दिया है और पुलिस की सक्रियता अब इस मामले की जांच करने में जुटी हुई है। आइए जानते हैं इस मामले के विभिन्न पहलुओं के बारे में।
घटना का विवरण
आज दोपहर, रुपंगढ़ पुलिस थाने के प्रभारी को भूमि विवाद के संबंध में सूचना मिली। जब उन्होंने घटनास्थल पर पहुंचकर स्थिति का जायजा लिया, तो वहां दो समूहों के बीच लड़ाई चल रही थी। इस झड़प में एक व्यक्ति, शकील लंगा, की मौत हो गई, जबकि दूसरा व्यक्ति, नारायण कुमावत, गंभीर रूप से घायल हो गया। घायल की हालत अब स्थिर बताई जा रही है।
इस घटना के बाद पुलिस ने मौके पर पहुंचकर स्थिति को नियंत्रित किया। पुलिस ने इस झड़प में शामिल पांच वाहनों को जब्त किया, जिनमें JCB, स्कॉर्पियो और वेरना कार शामिल हैं।
विवाद की जड़
यह झगड़ा उस समय शुरू हुआ जब स्थानीय दुकानदारों ने ज़मीन की नींव खुदाई करना शुरू किया। ऐसा बताया जा रहा है कि यह कार्य कुछ गैंग सदस्यों के लिए बर्दाश्त के बाहर था, जिसके कारण झड़प हो गई। भूमि विवादों की बढ़ती घटनाओं ने क्षेत्र में तनाव उत्पन्न कर दिया है।
पृष्ठभूमि
अजमेर जिले के रूपनगढ़ में जमीन विवाद में किशनगढ़ के पूर्व विधायक नाथूराम सिनोदिया के बेटे भंवर सिनोदिया की हत्या के आरोप में बलवाराम चौधरी जेल में सजा काट रहे है। इसी बीच रविवार को उसके भांजे और साथियों ने उनकी रूपनगर स्थित श्वेतांबर जैन समाज छात्रावास की जमीन पर बनाई जा रही दुकानों का विरोध करते हुए हमला कर दिया। हमले के बाद बड़ी संख्या में ग्रामीण एकत्र हो गए और जेसीबी में आग लगा दी। घटना के बाद इलाके के बाजार बंद हो गए।
एक ग्रामीण की मौत तीन-चार घायल
मारपीट करने आए बलवाराम चौधरी के भांजे दिनेश चौधरी ने करीब तीन-चार राउंड फायर किए। जिसमें एक ग्रामीण की मौत हो गई। इस मारपीट में तीन-चार व्यक्ति घायल हो गए, जिसमें ग्रामीण नारायण कुमावत को गंभीर अवस्था में जवाहरलाल नेहरू अस्पताल में भर्ती कराया गया है। जहां उसका इलाज जारी है।
क्या था मामला?
कांग्रेस के पूर्व विधायक नाथूराम सिनोदिया के पुत्र भंवर सिनोदिया की 9 मार्च 2011 को जमीनी विवाद को लेकर बलभा जाट, सिकंदर, शहजाद सहित अन्य आरोपियों ने अपहरण कर साली के जंगल में हत्या कर दी थी। भागचंद चोटिया भंवर सिनोदिया के अपहरण का एकमात्र मुख्य चश्मदीद गवाह था।
पुलिस का बयान
अजमेर रेंज के IG ओम प्रकाश मेघवाल ने इस घटना पर कहा कि हम मामले की पूरी जांच करेंगे और जो भी दोषी पाए जाएंगे, उन्हें शीघ्र दंडित किया जाएगा। वहीं, किशनगढ़ ग्रामीण के DSP सत्यनारायण ने पुष्टि की कि यह एक गोलीबारी की घटना थी, जिसके चलते शकील की मौत हुई और नारायण गंभीर रूप से घायल हुआ।
क्षेत्र में स्थिति
पुलिस ने क्षेत्र को पूरी तरह से नियंत्रण में ले लिया है, और स्थानीय बाजार बंद करवा दिए गए हैं। इससे क्षेत्र के लोगों में भय और चिंता का माहौल बन गया है।
प्रतिक्रिया और सुरक्षा उपाय
स्थानीय निवासियों का कहना है कि इस तरह की हिंसा पहले भी होती रही है, और प्रशासन को इस पर ठोस कदम उठाने की आवश्यकता है। पुलिस ने आश्वासन दिया है कि वे जल्द ही मामले में कार्रवाई करेंगे और क्षेत्र में सुरक्षा के लिए अतिरिक्त बल तैनात करेंगे।
यह घटना भूमि विवादों की गंभीरता को उजागर करती है, जो न केवल व्यक्तिगत स्तर पर बल्कि सामाजिक स्तर पर भी खतरनाक साबित हो सकती है। प्रशासन की जिम्मेदारी है कि वे इस तरह के मामलों में त्वरित और प्रभावी कार्रवाई करें, ताकि भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो।